रायपुर दक्षिण उपचुनाव: चुनाव में नेताओं ने झोंकी अपनी पूरी ताकत, सुरक्षा के कड़े इंतजामों के बीच मतदान का इंतजार

मोहन के गढ़ में किसकी होगी विजय ? खिलेगा कमल या कांगेस के हाथ में जीत

Pushpraj Singh Thakur
Pushpraj Singh Thakur - Editor in Chief 4.7k Views
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रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में सियासी सरगर्मी चरम पर पहुंच गई है, क्योंकि दक्षिण विधानसभा उपचुनाव के लिए प्रचार थम चुका है। बुधवार, 13 नवंबर को होने वाले मतदान से पहले प्रशासन ने चौकसी के कड़े इंतजाम कर दिए हैं, जिससे मतदाता बिना किसी दबाव के वोट डाल सकें। पोलिंग पार्टियां रवाना हो चुकी हैं, और सुरक्षा बल मतदान केंद्रों पर कमान संभाल रहे हैं।

प्रचार के आखिरी दिन बीजेपी और कांग्रेस के बड़े नेताओं ने रायपुर की जनता को लुभाने में कोई कसर नहीं छोड़ी। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष किरण सिंहदेव और मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने मोर्चा संभाला तो वहीं कांग्रेस के दमदार नेता, पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, चरणदास महंत, दीपक बैज और टीएस सिंहदेव ने भी अपने उम्मीदवार के लिए पूरी ताकत झोंक दी। इस चुनाव में कांग्रेस ने युवा चेहरा आकाश शर्मा पर दांव खेला है, जो 34 साल के हैं और पहली बार विधानसभा का चुनाव लड़ रहे हैं। उधर, बीजेपी ने अपने अनुभवी प्रत्याशी और रायपुर के पूर्व सांसद सुनील सोनी को मैदान में उतारा है।

रायपुर दक्षिण उपचुनाव

चुनावी मुद्दों की बात करें तो दोनों ही दलों ने स्थानीय विषयों पर फोकस किया। बीजेपी ने अपने पिछले आठ कार्यकालों की उपलब्धियों को बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया और इसे अपना ‘गौरव’ बताया। वहीं, कांग्रेस ने भ्रष्ट्राचार के आरोपों का मोर्चा खोला और भाठागांव जमीन घोटाले को चुनावी हथियार बनाया। कांग्रेस प्रत्याशी लगातार लोगों को यह भरोसा दिलाते दिखे कि वे इस मुद्दे को विधानसभा में जोर-शोर से उठाएंगे।

रायपुर दक्षिण उपचुनाव

चुनाव प्रचार के दौरान दोनों उम्मीदवारों को जनता के विरोध का भी सामना करना पड़ा। बीजेपी के सुनील सोनी जहां विरोध प्रदर्शन का शिकार हुए, वहीं कांग्रेस के प्रत्याशी के खिलाफ भी नारेबाजी देखने को मिली।

सुरक्षा व्यवस्था को पुख्ता बनाने के लिए रायपुर पुलिस ने कोई कसर नहीं छोड़ी है। रायपुर के एसएसपी डॉ. संतोष सिंह ने बताया कि करीब 500 सुरक्षाकर्मी और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की 5 कंपनियां तैनात हैं। संवेदनशील मतदान केंद्रों पर केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) के जवान तैनात किए गए हैं। वहीं, सत्रह पेट्रोलिंग पार्टियां और क्यूआरटी (क्विक रेस्पॉन्स टीम) लगातार निगरानी रखेंगी। पुलिस के उच्च अधिकारी भी हर समय अपने-अपने क्षेत्रों में मौजूद रहेंगे ताकि किसी भी अप्रिय स्थिति में तत्काल कदम उठाया जा सके।

मतदान के दिन सुरक्षा के ये इंतजाम सुनिश्चित करेंगे कि मतदाता बिना किसी डर के अपने मताधिकार का प्रयोग कर सकें। इस रोमांचक चुनावी मुकाबले का नतीजा 23 नवंबर को घोषित होगा, तब यह साफ हो जाएगा कि रायपुर दक्षिण की जनता ने किसे अपना प्रतिनिधि चुना है।

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Pushpraj Singh Thakur
By Pushpraj Singh Thakur Editor in Chief
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आप सालों से पत्रकारिता के क्षेत्र से जुड़े हुए हैं एवं वर्तमान में India News के जिला ब्यूरोचीफ के रूप में काम कर रहे हैं। आप सॉफ्टवेयर डेवलपर एवं डिजाइनर भी हैं।

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