डॉ. अब्दुल कलाम सम्मान से सम्मानित सतीश चंद्र प्रसाद

Harsh Dongre
Harsh Dongre - Editor Kanker 47 Views
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कांकेर (छत्तीसगढ़): शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, इच्छापुर, विकासखंड कांकेर के गणित व्याख्याता श्री सतीश चंद्र प्रसाद को शिक्षा के क्षेत्र में उनके विशिष्ट योगदान के लिए डॉ. अब्दुल कलाम सम्मान से सम्मानित किया गया। यह सम्मान उन्हें प्रकृति शिक्षण विज्ञान यात्रा छत्तीसगढ़ राज्य इकाई द्वारा इंजीनियरिंग कॉलेज जगदलपुर में आयोजित राज्य स्तरीय शिक्षक अलंकरण समारोह 2024 में प्रदान किया गया।

शिक्षा के क्षेत्र में बड़ा सम्मान

शिक्षा में नवाचार और सामाजिक योगदान

श्री सतीश चंद्र प्रसाद की उपलब्धि शिक्षा के क्षेत्र में उनके नवाचारों और समाज सुधार की पहल के कारण है। उन्होंने छात्रों को गणित एवं विज्ञान के प्रति रुचि विकसित करने के लिए विशेष प्रयास किए हैं। साथ ही, उन्होंने सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ जागरूकता अभियान चलाए, प्रकृति और पर्यावरण की रक्षा के लिए सक्रिय भूमिका निभाई, और मतदाता जागरूकता जैसे सामाजिक मुद्दों पर भी कार्य किया।

राष्ट्रीय सेवा योजना और स्काउट गाइड में योगदान

श्री प्रसाद न केवल एक शिक्षक हैं, बल्कि अपने विद्यालय के राष्ट्रीय सेवा योजना (NSS) के कार्यक्रम अधिकारी और स्काउट मास्टर भी हैं। उनके नेतृत्व में विद्यालय के स्वयंसेवकों और स्काउट गाइडों ने कई राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय कार्यक्रमों में भाग लिया। पचमढ़ी, कुल्लू-मनाली, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, और पंजाब में आयोजित साहसिक गतिविधियों में भाग लेकर उनके विद्यार्थियों ने विद्यालय और क्षेत्र का नाम रोशन किया है।

सम्मान समारोह का आयोजन

इस भव्य राज्य स्तरीय समारोह में प्रकृति शिक्षण विज्ञान यात्रा के अध्यक्ष श्री अभिषेक शुक्ला, मुख्य अतिथि श्री बी.आर. बघेल (जिला शिक्षा अधिकारी, जगदलपुर), और विशिष्ट अतिथि श्री नीरज वर्मा (साइंस एक्टिविस्ट, इसरो) और श्रीमती रश्मि वर्मा (साइंस एक्टिविस्ट, साइंस पार्क, गोंदिया) की गरिमामयी उपस्थिति में श्री सतीश चंद्र प्रसाद को यह सम्मान प्रदान किया गया। कार्यक्रम में कुलपति शहीद महेंद्र कर्मा बस्तर विश्वविद्यालय, जगदलपुर और पद्मश्री अजय मंडावी भी शामिल होने वाले थे, परन्तु अपरिहार्य कारणों से वे उपस्थित नहीं हो सके।

पूर्व सम्मान और समाज में योगदान

श्री प्रसाद इससे पहले भी ब्लॉक और जिला स्तर पर विभिन्न संस्थाओं द्वारा सम्मानित किए जा चुके हैं। गणित और विज्ञान की बारीकियों को तार्किक ढंग से समझाने के कारण उन्हें स्थानीय अंचल में विशेष लोकप्रियता प्राप्त है। उन्होंने तीन वर्षों तक D.Ed और D.El.Ed छात्रों को पढ़ाने का कार्य भी किया है।

भारतीय संस्कृति से प्रेरित सम्मान समारोह

इस कार्यक्रम की खास विशेषता यह रही कि यह भारतीय संस्कृति के अनुरूप संचालित किया गया। सम्मानित शिक्षकों का दूध से पद प्रक्षालन कर, मंत्रोच्चार के साथ महाआरती का आयोजन हुआ। राज्य भर से 213 शिक्षकों में से 72 का चयन इस सम्मान के लिए किया गया, जिसमें श्री सतीश चंद्र प्रसाद का नाम भी शामिल था। यह आयोजन एक नई पहल के रूप में भारतीय संस्कृति के गौरवशाली तत्वों को पुनः जागरूक करने का प्रयास था।

प्रसाद जी का योगदान और भविष्य की दिशा

श्री सतीश चंद्र प्रसाद के इस सम्मान से विद्यालय के समस्त शिक्षक-शिक्षिकाएं और छात्र-छात्राएं अत्यंत प्रसन्न हैं। विद्यालय के प्राचार्य श्री विकास श्रीवास्तव ने उन्हें उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि श्री प्रसाद शिक्षा के क्षेत्र में नए मापदंड स्थापित कर रहे हैं और इस सम्मान से विद्यालय की प्रतिष्ठा भी बढ़ी है।

श्री सतीश चंद्र प्रसाद का जीवन परिचय

श्री प्रसाद ने अपने जीवन को शिक्षा के माध्यम से समाज की उन्नति और विकास के लिए समर्पित किया है। अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने न केवल छात्रों को विषयों की बारीकियां सिखाईं, बल्कि सामाजिक रूप से जागरूक नागरिक भी बनाया। उनका मानना है कि शिक्षा का उद्देश्य सिर्फ ज्ञान देना नहीं, बल्कि समाज के प्रति जिम्मेदारी और जागरूकता उत्पन्न करना है।

श्री सतीश चंद्र प्रसाद जैसे समर्पित शिक्षक का सम्मान निश्चित रूप से शिक्षा के क्षेत्र में एक प्रेरणा का स्रोत है, जो आगे आने वाली पीढ़ियों को समाज सेवा और शिक्षा के प्रति समर्पण का महत्व समझाता रहेगा।

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